रिपोर्ट: अरुण यादव

आजमगढ़। नयाह-खाय के साथ  छठ महापर्व का आगाज हो चुका है। बुधवार को व्रतियों ने पूरे दिन निर्जला व्रत रखने के बाद शाम को बखीर और रोटी के रूप में केले के पत्ते पर प्रसाद ग्रहण किया। गुरुवार को निर्जला व्रत के साथ अस्तचलगामी सूर्य और शुक्रवार सुबह उगते हुए सूर्य को अर्घ्य देने के बात व्रतियों की पूजा संपन्न होगी। पूजा के मद्देनगर जहां घाटों पर सफाई और वेदियां बनाने का क्रम जारी रहा। वहीं, बाजारों में गन्ना, नारियल के साथ ही फलों, दउरी और सूप की खूब खरीदारी हुई।
छठ महापर्व के तहत  व्रती महिलाओं ने बुधवार को पूरे दिन निर्जला व्रत रख कर सूर्यदेव की उपासना की। घरों में छठ मैया के गीत गूंजते रहे। शाम के स्नान के बाद नये वस्त्र धारण कर मिट्टी के चुल्हे पर गुड़ की खीर और रोटी के रूप में प्रसाद बनाया। भगवान को भोग लगने के बाद महिलाओं ने प्रसाद ग्राहण किया। इसके साथ ही व्रतियों का निर्जला उपवास जारी रहेगा। गुरुवार को पूरे दिन निर्जला व्रत रख महिलाएं घर पर उपासना करेंगी। घाट पर चढ़ाने के लिए प्रसाद आदि तैयार किया जाएगा। शाम को डूबते हुए सूर्य को पहला अर्ध्य दिया जाएगा। शुक्रवार को उगते हुए सूर्य को अर्घ्य देने के बाद महिलाओं को व्रत समाप्त होता।