
आजमगढ़। भूजल संरक्षण को लेकर 16 से 22 जुलाई 2025 तक मनाए जा रहे भूजल सप्ताह के अंतर्गत आज जिलाधिकारी रविंद्र कुमार की अध्यक्षता में कलेक्ट्रेट सभागार में एक महत्वपूर्ण समीक्षा बैठक आयोजित की गई। बैठक में जिले में भूजल स्तर की गिरावट को रोकने एवं जल संचयन को लेकर विभिन्न योजनाओं और कार्यक्रमों की समीक्षा की गई।
जिलाधिकारी ने निर्देश दिया कि जिन क्षेत्रों में भूजल स्तर लगातार गिर रहा है, वहां रेन वाटर हार्वेस्टिंग, फ्लो मीटर, और डीडब्ल्यूएलआर (DWLR) की स्थापना अनिवार्य रूप से कराई जाए। साथ ही भूगर्भ जल अधिनियम 2019 और CGWB की गाइडलाइन का पालन करने वाली फर्मों को ही एनओसी (अनापत्ति प्रमाण पत्र) जारी किया जाए।
उन्होंने ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में जन जागरूकता अभियान चलाने के निर्देश दिए। इसके तहत रैली, पंपलेट, फ्लेक्स, सोशल मीडिया प्रचार आदि माध्यमों का उपयोग कर जल संरक्षण का संदेश जन-जन तक पहुंचाया जाएगा।जिलाधिकारी ने डीसी मनरेगा को निर्देशित किया कि जिन क्षेत्रों में जल स्तर कम है वहां वन विभाग के सहयोग से वृक्षारोपण अभियान को गति दी जाए।
हाइड्रोलॉजिस्ट आनंद प्रकाश ने बताया कि जिले में हर वर्ष 16 से 22 जुलाई तक भूजल सप्ताह का आयोजन किया जाता है, जिसके अंतर्गत स्कूलों, ग्रामीण युवाओं व स्वयंसेवी संस्थाओं को जोड़कर जल संवर्धन की दिशा में व्यापक कार्य किए जाते हैं। इस वर्ष भी छतों से वर्षा जल संचयन (रूफटॉप रेन वाटर हार्वेस्टिंग) के कार्य को बढ़ावा दिया जा रहा है।
बैठक में मुख्य विकास अधिकारी परीक्षित खटाना, मुख्य राजस्व अधिकारी संजीव ओझा, डीसी मनरेगा श्री राम उदरेज यादव, जिला विद्यालय निरीक्षक श्री उपेंद्र कुमार, सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे।